गाजीपुर सीट से BSP सांसद अफजाल अंसारी की लोकसभा सदस्यता रद्द

नई दिल्ली। गाजीपुर से बीएसपी सासंद अफजाल अंसारी की लोक सभा सदस्यता रद्द कर दी गई है। उन्हें गैंगस्टर एक्ट में चार साल की सजा सुनाई गई थी, जिसके बाद लोक सभा सचिवालय की ओर से नोटिफिकेशन जारी किया गया है। अफजाल अंसारी की सदस्यता 29 अप्रैल से रद्द मानी जाएगी। अफजाल अंसारी ने बहुजन समाज पार्टी के टिकट पर उत्तर प्रदेश की गाजीपुर सीट से 2019 का लोकसभा चुनाव जीता था। अफजाल अंसारी, मुख्तार अंसारी के भाई हैं। गैंगस्टर एक्ट में अफजाल अंसारी को गाजीपुर की एमपी-एमएलए कोर्ट ने दोषी करार देते हुए चार साल की सजा सुनाई थी। इसके साथ ही एक लाख का जुर्माना भी लगाया है। अदालत द्वारा दोषी करार देते ही पुलिस ने उन्हें हिरासत में ले लिया है। इस फैसले के बाद उनके सांसद बने रहने पर खतरा मंडराने लगा था। गौरतलब है कि अफजाल अंसारी से पहले कांग्रेस के वरिष्ठ नेता राहुल गांधी को लेकर सूरत कोर्ट से आए फैसले के बाद इनकी सदस्यता को भी रद्द कर दी गई थी। बता दें कि बांदा जेल में बंद माफिया मुख्तार अंसारी को एमपी/एमएलए कोर्ट ने गैंगस्टर एक्ट में 10 साल की सज़ा सुनाई गई थी। साथ ही 5 लाख रुपये का जुर्माना भी लगाया है। वहीं मुख्तार अंसारी के बड़े भाई और BSP सांसद अफजाल अंसारी को भी एमपी एमएलए कोर्ट ने दोषी करार दिया गया था। सांसद अफजाल अंसारी को 4 साल की सजा और एक लाख रुपये का अर्थदंड लगाया गया था। कोर्ट के इस फैसले के बाद सांसद अफजाल अंसारी को पुलिस कस्टडी में ले लिया गया था। 22 नवंबर 2005 को मुहम्मदाबाद पुलिस ने भांवरकोल में कृष्णानंद राय हत्याकांड और वाराणसी में नंद किशोर रूंगटा के मामले को गैंग चार्ट में शामिल करते हुए सांसद अफजाल अंसारी और मुख्तार अंसारी के खिलाफ गिरोह बंद अधिनियम के अंतर्गत मुकदमा दर्ज कराया था। इसके बाद से गाजीपुर के सांसद अफजाल अंसारी जमानत पर थे। गाजीपुर में 29 नवंबर 2005 को मोहम्मदाबाद से तत्कालीन बीजेपी विधायक कृष्णानंद राय सहित कुल 7 लोगों को गोलियों से छलनी कर दिया गया था। चुनावी रंजिश के कारण इस हत्या को अंजाम दिया गया था। इस हत्याकांड में मुख्तार अंसारी और अफजाल को आरोपी बनाया गया था। दरअसल, अंसारी ब्रदर्स के प्रभाव वाली मोहम्मदाबाद विधानसभा सीट पर 2002 में अफजाल अंसारी को हराकर कृष्णानंद राय ने जीत हासिल की थी। इसके चलते उनकी हत्या हुई थी।

DrashtaNews

नई दिल्ली। गाजीपुर से BSP सासंद अफजाल अंसारी की लोक सभा सदस्यता रद्द कर दी गई है। उन्हें गैंगस्टर एक्ट में चार साल की सजा सुनाई गई थी, जिसके बाद लोक सभा सचिवालय की ओर से नोटिफिकेशन जारी किया गया है। अफजाल अंसारी की सदस्यता 29 अप्रैल से रद्द मानी जाएगी। अफजाल अंसारी ने बहुजन समाज पार्टी के टिकट पर उत्तर प्रदेश की गाजीपुर सीट से 2019 का लोकसभा चुनाव जीता था।

अफजाल अंसारी, मुख्तार अंसारी के भाई हैं। गैंगस्टर एक्ट में अफजाल अंसारी को गाजीपुर की एमपी-एमएलए कोर्ट ने दोषी करार देते हुए चार साल की सजा सुनाई थी। इसके साथ ही एक लाख का जुर्माना भी लगाया है। अदालत द्वारा दोषी करार देते ही पुलिस ने उन्हें हिरासत में ले लिया है। इस फैसले के बाद उनके सांसद बने रहने पर खतरा मंडराने लगा था।

गौरतलब है कि अफजाल अंसारी से पहले कांग्रेस के वरिष्ठ नेता राहुल गांधी को लेकर सूरत कोर्ट से आए फैसले के बाद इनकी सदस्यता को  भी रद्द कर दी गई थी। बता दें कि बांदा जेल में बंद माफिया मुख्तार अंसारी  को एमपी/एमएलए कोर्ट ने गैंगस्टर एक्ट में 10 साल की सज़ा सुनाई गई थी। साथ ही 5 लाख रुपये का जुर्माना भी लगाया है। वहीं मुख्तार अंसारी के बड़े भाई और BSP सांसद अफजाल अंसारी को भी एमपी एमएलए कोर्ट ने दोषी करार दिया गया था। सांसद अफजाल अंसारी को 4 साल की सजा और एक लाख रुपये का अर्थदंड लगाया गया था। कोर्ट के इस फैसले के बाद सांसद अफजाल अंसारी को पुलिस कस्टडी में ले लिया गया था।

22 नवंबर 2005 को मुहम्मदाबाद पुलिस ने भांवरकोल में कृष्णानंद राय हत्याकांड और वाराणसी में नंद किशोर रूंगटा के मामले को गैंग चार्ट में शामिल करते हुए सांसद अफजाल अंसारी और मुख्तार अंसारी के खिलाफ गिरोह बंद अधिनियम के अंतर्गत मुकदमा दर्ज कराया था।  इसके बाद से गाजीपुर के सांसद अफजाल अंसारी जमानत पर थे।

गाजीपुर में 29 नवंबर 2005 को मोहम्मदाबाद से तत्कालीन बीजेपी विधायक कृष्णानंद राय सहित कुल 7 लोगों को गोलियों से छलनी कर दिया गया था। चुनावी रंजिश के कारण इस हत्या को अंजाम दिया गया था। इस हत्याकांड में मुख्तार अंसारी और अफजाल को आरोपी बनाया गया था। दरअसल, अंसारी ब्रदर्स के प्रभाव वाली मोहम्मदाबाद विधानसभा सीट पर 2002 में अफजाल अंसारी को हराकर कृष्णानंद राय ने जीत हासिल की थी। इसके चलते उनकी हत्या हुई थी।

Scroll to Top