पीएम मोदी ने युवाओं से की विशेष अपील, विकसित भारत के निर्माण के लिए युवा आगे आएं

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नई दिल्ली। आज देश वीर साहिबज़ादों के अमर बलिदान को याद कर रहा है, उनसे प्रेरणा ले रहा है। आजादी के अमृतकाल में वीर बाल दिवस के रूप में ये एक नया अध्याय प्रारंभ हुआ है। पिछले वर्ष, देश ने पहली बार 26 दिसंबर को वीर बाल दिवस के तौर पर मनाया था।प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने देश के युवाओं से देश के लिए जीने, जुटने और जूझने का आवाह्न करते हुए कहा कि भारत के निर्माण के लिए युवा आगे आएं।

प्रधानमंत्री ने कहा कि आने वाले 25 साल भारत के साम‌र्थ्य की पराकाष्ठा का प्रचंड प्रदर्शन करेंगे और इसके लिए हमें पंच प्राणों पर चलना होगा। अपने राष्ट्रीय चरित्र को और सशक्त करना होगा। प्रधानमंत्री ने युवाओं से कहा हमें एक पल भी गंवाना नहीं है, एक पल भी ठहरना नहीं है। देश को बेहतर बनाने के लिए, विकसित बनाने के लिए जीना है, जुटना है, जूझना है और विजयी होकर निकलना है।

प्रधानमंत्री ने देश की अपार युवा शक्ति की असीमित क्षमता का जिक्र करते हुए कहा कि आज भारत जिस कालखंड से गुजर रहा है वह युगों- युगों में एक बार आता है। आज भारत दुनिया के उन देशों में से है जो देश सबसे ज्यादा युवा देश है। ये विशाल युवा शक्ति देश को जिस ऊंचाई पर ले जा सकती है, वो कल्पना से भी परे है।

हालांकि, प्रधानमंत्री ने युवाओं को आगे आकर देश के लिए जुटने, जूझने का आवाह्न करने के साथ ही स्वास्थ्य के प्रति सचेत रहने, फिट रहने की भी नसीहत दी। साथ ही युवाओं में नशा व ड्रग्स की समस्या से निपटने के लिए राष्ट्र व समाज को इस ओर ध्यान देने की जरूरत बताई। प्रधानमंत्री ने ये बातें दिल्ली प्रगति मैदान के भारत मंडपम में वीर बाल दिवस के अवसर पर आयोजित कार्यक्रम के संबोधन में कहीं।

उन्होंने कहा कि वीर बाल दिवस भारतीयता की रक्षा के लिए कुछ भी कर गुजरने के संकल्प का प्रतीक है। माता गुजरी, गुरु गोविंद सिंह और चार साहिबजादों की बहादुरी एवं आदर्श आज भी हर भारतीय को ताकत देते हैं। प्रधानमंत्री ने कहा कि आज के भारत को अपने लोगों पर, अपने साम‌र्थ्य पर और अपनी प्रेरणाओं पर भरोसा है। आने वाले 25 साल हमारी युवा शक्ति के लिए बहुत बड़ा अवसर लेकर आ रहे हैं। भारत का युवा किसी भी क्षेत्र में किसी भी समाज में पैदा हुआ हो उसके सपने असीम हैं। इन सपनों को पूरा करने के लिए सरकार के पास स्पष्ट रोडमैप है, स्पष्ट विजन है, स्पष्ट नीति है, नीयत में कोई खोट नहीं है।

प्रधानमंत्री ने युवाओं को शिक्षित, सशक्त और समर्थ बनाने के लिए किये जा रहे प्रयासों का जिक्र करते हुए नई शिक्षा नीति, स्टार्ट अप और नया रोजगार शुरू करने के लिए बिना गारंटी के मुद्रा लोन की व्यवस्था का जिक्र करते हुए कहा कि आज आठ करोड़ से ज्यादा नौजवानों ने मुद्रा लोन से पहली बार अपना कोई बिजनेस, कोई स्वतंत्र काम शुरू किया है। ये भी गांव-गरीब, दलित, पिछड़े, आदिवासी, वंचित वर्ग के युवा हैं इनके पास बैंक को गारंटी देने तक के लिए कोई सामान नहीं था। इनकी गारंटी भी मोदी ने ली, प्रधानमंत्री ने कहा हमारी सरकार इनकी साथी बनी।

अंतरराष्ट्रीय प्रतियोगिताओं में भारतीय खिलाड़ियों के नये रिकार्ड बनाने का जिक्र करते हुए प्रधानमंत्री ने खेलो इंडिया अभियान की भूमिका, पारदर्शी चयन प्रक्रिया और आधुनिक ट्रे¨नग की उचित व्यवस्था को इसका श्रेय दिया। प्रधानमंत्री ने एक बार फिर भारत को तीसरे नंबर की अर्थव्यवस्था बनाने की बात करते हुए तीसरे नंबर की अर्थ व्यवस्था के मायने भी समझाए।

उन्होंने कहा कि जब में भारत को तीसरे नंबर की अर्थव्यवस्था बनाने की बात करता हूं तो उसके सबसे बड़े लाभार्थी देश के युवा ही हैं। प्रधानमंत्री ने कहा कि तीसरे नंबर की आर्थिक ताकत का मतलब है कि बेहतर स्वास्थ्य, बेहतर शिक्षा। तीसरे नंबर की आर्थिक ताकत होने का मतलब है अधिक अवसर अधिक रोजगार। तीसरे नंबर की आर्थिक ताकत होने का मतलब है, क्वालिटी आफ लाइफ, क्वालिटी ऑफ प्रोडक्ट।

भारत को विकसित बनाने में युवाओं की महती भूमिका का जिक्र करते हुए उन्होंने कहा कि वर्ष 2047 का विकसित भारत कैसा होगा, उस बड़े कैनवस पर बड़ी तस्वीर हमारे युवाओं को ही बनानी है। सरकार एक दोस्त के रूप में, एक साथी के रूप में उनके साथ मजबूती से खड़ी है। प्रधानमंत्री ने युवाओं से विकसित भारत अभियान के साथ जुड़ने का आह्वान किया।

प्रधानमंत्री ने कहा कि विकसित भारत के निर्माण के लिए युवाओं के सुझाव और उनके संकल्पों को जोड़ने के लिए एक राष्ट्रव्यापी अभियान चल रहा है। सभी युवाओं से माई गोव पर विकसित भारत से जुड़ने, सुझाव साझा करने का आग्रह किया है। साथ ही माई भारत से भी जुड़ने का आवाह्न किया। प्रधानमंत्री ने युवाओं से स्वास्थ्य को सर्वोच्च प्राथमिकता देने का आग्रह किया। कहा कि जब भारत का युवा फिट होगा, तो वो अपने कैरियर में भी सुपरहिट होगा। युवाओं को अपने स्वास्थ्य के बारे में कुछ नियम बनाने चाहिए और उनका पालन करना चाहिए।

प्रधानमंत्री ने युवा पीढ़ी के सामने चुनौती बनी नशे की समस्या का भी जिक्र किया और कहा कि एक राष्ट्र के रूप में एक समाज के रूप में इस पर ध्यान देने की जरूरत है। प्रधानमंत्री ने कहा कि वह आज वीर बाल दिवस पर सभी धर्म गुरुओं और सभी सामाजिक संस्थाओं से आग्रह करते हैं कि कि देश में ड्रग्स के खिलाफ एक बड़ा जनआंदोलन हो।

कार्यक्रम में महिला एवं बाल विकास मंत्री स्मृति इरानी और शिक्षा और कौशल विकास मंत्री धर्मेन्द्र प्रधान, केंद्रीय सूचना व प्रसारण मंत्री अनुराग ठाकुर भी मौजदू थे। महिला बाल विकास मंत्री स्मृति इरानी ने अपने संबोधन में बच्चों के पोषण और शिक्षा के लिए सरकार द्वारा किये जा रहे प्रयासों का उल्लेख किया। उन्होंने कहा कि रोज देश में आठ करोड़ बच्चों का पोषण हो रहा है। सरकार ने बच्चों के बजट में वृद्धि की है। उन्होंने वीर साहिबजादों को समर्पित वीर बलिदान दिवस पर साहिबजादों के बलिदान को याद किया। कार्यक्रम में बच्चों ने शबद कीर्तन किये। मार्च पास्ट किया और मार्शल आर्ट का प्रदर्शन किया।

पिछले वर्ष प्रधानमंत्री ने नौ जनवरी 2022 को गुरु गोविंद सिंह जी के प्रकाश पर्व पर 26 दिसंबर को श्री गुरु गोबिंद सिंह के पुत्रों बाबा जोरावर सिंह जी और बाबा फतेह¨सह जी की शहादत को वीर बाल दिवस के रूप में मनाए जाने की घोषणा की थी। पिछले वर्ष पहली बार 26 दिसंबर को वीर बाल दिवस मानाया गया था। आज 26 दिसंबर को सरकार ने नागरिकों विशेषकर छोटे बच्चों को साहिबजादों के अदम्य साहस की कहानी के बारे में जानकारी देने और शिक्षित करने के लिए पूरे देश में भागेदारी कार्यक्रम आयोजित किया।

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