कांग्रेस की गुजरात में बनी सरकार तो,15 लाख संविदा और आउटसोर्स कर्मियों को करेगी नियमित

गुजरात विधानसभा चुनाव तारीखों के ऐलान से पहले कांग्रेस ने चुनाव जीतने पर 15 लाख संविदा और आउटसोर्स कर्मचारियों को नियमित करने का वादा किया है। रविवार को कांग्रेस की ओर से ऐलान किया गया है कि यदि पार्टी विधानसभा चुनावों के बाद सत्ता में आई तो सरकारी संस्थाओं और विभागों में ठेके पर काम करने वाले या आउटसोर्स किए गए करीब 15 लाख युवाओं को नियमित सरकारी नौकरी उपलब्ध करवाएगी। यही नहीं पार्टी ने बिना कोई चार्ज लिए गैर-कानूनी निर्माणों को भी नियमित करने का वादा किया है। गुजरात में विधानसभा चुनाव करीब आते ही सभी राजनीति दल एक के बाद एक लोक-लुभावने वादे कर रहे हैं। कांग्रेस की गुजरात इकाई के कार्यकारी अध्यक्ष हिम्मत सिंह पटेल ने रविवार को यह घोषणा की। इससे एक दिन पहले कांग्रेस शासित राजस्थान सरकार ने संविदा कर्मचारियों को नियमित करने संबंधी नियमों को मंजूरी दी थी। कांग्रेस ने यह भी वादा किया कि जो लोग अवैध निर्माण को नियमित कराना चाहते हैं उन्हें निशुल्क ऐसा करने की अनुमति दी जाएगी। हिम्मतसिंह पटेल ने संवाददाताओं से कहा, 'राजस्थान सरकार की ओर से जनता के पक्ष में लिए गए इस फैसले से लगभग 1.10 लाख युवाओं को फायदा मिलेगा। उसी तरह से हमारी पार्टी, अगर गुजरात में सत्ता में आती है, तो करीब 5 लाख संविदा और 10 लाख आटसोर्स स्टाफ को नियमित करेगी। बीजेपी के शासन में इन युवाओं का इस समय शोषण हो रहा है।' इससे पहले पिछले हफ्ते राज्य की मौजूदा भारतीय जनता पार्टी सरकार ने घोषणा की थी कि शहरी इलाकों में अनधिकृत निर्माणों को नियमित करने के लिए 'प्रभाव शुल्क' लेकर नियमित करने के लिए एक अध्यादेश को लागू करेगी। इसपर जीतू पटेल ने कहा, 'यह बीजेपी सरकार का प्रभाव शुल्क के माध्यम से लोगों से 20,000 करोड़ रुपए जमा करने की दुर्भावनापूर्ण योजना है। अध्यादेश में स्पष्टता की कमी है और सिर्फ भ्रष्टाचार को बढ़ावा मिलेगा। अगर कांग्रेस सत्ता में आती है, हम गैर-कानूनी निर्माणों को बिना लोगों से एक रुपया लिए नियमित करेंगे।'

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अहमदाबाद(पीटीआई)। गुजरात विधानसभा चुनाव तारीखों के ऐलान से पहले कांग्रेस ने चुनाव जीतने पर 15 लाख संविदा और आउटसोर्स कर्मचारियों को नियमित करने का वादा किया है। रविवार को कांग्रेस की ओर से ऐलान किया गया है कि यदि पार्टी विधानसभा चुनावों के बाद सत्ता में आई तो सरकारी संस्थाओं और विभागों में ठेके पर काम करने वाले या आउटसोर्स किए गए करीब 15 लाख युवाओं को नियमित सरकारी नौकरी उपलब्ध करवाएगी। यही नहीं पार्टी ने बिना कोई चार्ज लिए गैर-कानूनी निर्माणों को भी नियमित करने का वादा किया है।

गुजरात में विधानसभा चुनाव करीब आते ही सभी राजनीति दल एक के बाद एक लोक-लुभावने वादे कर रहे हैं। कांग्रेस की गुजरात इकाई के कार्यकारी अध्यक्ष हिम्मत सिंह पटेल ने रविवार को यह घोषणा की। इससे एक दिन पहले कांग्रेस शासित राजस्थान सरकार ने संविदा कर्मचारियों को नियमित करने संबंधी नियमों को मंजूरी दी थी। कांग्रेस ने यह भी वादा किया कि जो लोग अवैध निर्माण को नियमित कराना चाहते हैं उन्हें निशुल्क ऐसा करने की अनुमति दी जाएगी।

हिम्मतसिंह पटेल ने संवाददाताओं से कहा, ‘राजस्थान सरकार की ओर से जनता के पक्ष में लिए गए इस फैसले से लगभग 1.10 लाख युवाओं को फायदा मिलेगा। उसी तरह से हमारी पार्टी, अगर गुजरात में सत्ता में आती है, तो करीब 5 लाख संविदा और 10 लाख आटसोर्स स्टाफ को नियमित करेगी। बीजेपी के शासन में इन युवाओं का इस समय शोषण हो रहा है।’

इससे पहले पिछले हफ्ते राज्य की मौजूदा भारतीय जनता पार्टी सरकार ने घोषणा की थी कि शहरी इलाकों में अनधिकृत निर्माणों को नियमित करने के लिए ‘प्रभाव शुल्क’ लेकर नियमित करने के लिए एक अध्यादेश को लागू करेगी। इसपर जीतू पटेल ने कहा, ‘यह बीजेपी सरकार का प्रभाव शुल्क के माध्यम से लोगों से 20,000 करोड़ रुपए जमा करने की दुर्भावनापूर्ण योजना है। अध्यादेश में स्पष्टता की कमी है और सिर्फ भ्रष्टाचार को बढ़ावा मिलेगा। अगर कांग्रेस सत्ता में आती है, हम गैर-कानूनी निर्माणों को बिना लोगों से एक रुपया लिए नियमित करेंगे।’

गुजरात में भारतीय जनता पार्टी (BJP) सरकार ने पिछले हफ्ते घोषणा की थी कि वह शहरी क्षेत्रों में अनधिकृत निर्माणों को नियमित करने के लिए एक अध्यादेश लागू करेगी और इसके लिए प्रभाव शुल्क वसूल करेगी। यह पूछे जाने पर कि क्या कांग्रेस चुनाव पूर्व इस तरह का वादा करके आम आदमी पार्टी (AAP) का मुकाबला करने की कोशिश कर रही है, पटेल ने कहा कि लोग अच्छी तरह जानते हैं कि कौन सी पार्टी वादों पर खरा उतरती है।

पटेल ने कहा कि अन्य दल सत्ता के लिए खोखले दावे करते हैं। कांग्रेस का वादों को पूरा करने और जनहितैषी योजनाओं और कानूनों को लागू करने का एक लंबा इतिहास रहा है, चाहे वह मनरेगा, मध्याह्न भोजन, मुफ्त शिक्षा और भोजन का अधिकार हो। गौरतलब है कि आम आदमी पार्टी के राष्ट्रीय संयोजक और दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने गुजरात में सत्ता में आने पर राज्य में 10 लाख सरकारी नौकरियों की घोषणा की पहले ही का रखी है। 

पटेल ने यहां संवाददाताओं से कहा कि राजस्थान सरकार के इस जनहितैषी फैसले से करीब 1.10 लाख युवाओं को फायदा होगा। हमारी पार्टी अगर गुजरात में सत्ता में आती है, तो इसी तर्ज पर लगभग पांच लाख कॉन्ट्रैक्ट कर्मियों और 10 लाख आउटसोर्स कर्मचारियों को नियमित करेगी। सत्तारूढ़ भाजपा के कार्यकाल में इन युवाओं का शोषण किया जा रहा है।

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